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August 18, 2025

18. वह जो संदिग्ध है

उसके होने और न होने के बीच 

जो फासला है 

प्रत्यंचा है 

सब कुछ वहीं से उपजता है 

वहीं पर गड़ी है नजर उनकी 

जिनका आना न आने से बेहतर है

 

दुविधा है न आकर भी वे व्यस्त हैं 

अपसंस्कृति के महीन बीज बोने में

 

यह बीज अंकुरित हो 

पेड़ बने 

और लील जाए वह फासला 

कुदालें लाओ फावड़े लाओ 

लुंगी कमर में बांधो जुट जाओ

 

इस फासले में जो कुछ भी भरा जा चुका है 

उसे निकालकर फेंक दो बाहर


(Photo Courtesy: https://thephoenixspirit.com)